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भारत की हेल्थकेयर हकीकत: सबसे असुरक्षित है मिडिल क्लास

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भारत में ग़रीबों के लिए आयुष्मान भारत योजना जैसी सरकारी सुरक्षा है, चाहे वह अधूरी ही क्यों न हो। अमीर लोग सेल्फ-इंश्योर कर लेते हैं – उनके लिए ₹20 लाख की सर्जरी भी बस एक खर्च की लाइन आइटम है।

लेकिन असली मुश्किल मिडिल क्लास झेलता है। न तो वे इतने गरीब हैं कि सब्सिडी मिल सके, और न इतने अमीर कि खुद सब संभाल सकें।

👉 वे टैक्स भरते हैं जिससे Ayushman Bharat चलता है, पर खुद शायद ही कभी उसके हक़दार बनते हैं।
👉 वे SIPs और FDs से सालों तक वेल्थ क्रिएशन करते हैं, पर एक बड़ी बीमारी उनकी लाइफ़टाइम सेविंग्स मिटा देती है।
👉 वे Employer Health Insurance पर निर्भर रहते हैं, जो नौकरी बदलते ही या ज़रूरत पड़ने पर ख़त्म हो जाती है।

📌 हकीकत चौंकाने वाली है:

  • हर साल 6.3 करोड़ भारतीय सिर्फ़ मेडिकल बिलों की वजह से गरीबी रेखा के नीचे चले जाते हैं (WHO & World Bank)।

  • सिर्फ़ Hospitalization ही एक परिवार की सालाना आय का 11% तक खा जाती है (Health Policy & Systems, 2024)।

  • NITI Aayog के अनुसार, आज भी 40 करोड़ भारतीय (30% से ज़्यादा) के पास कोई Health Insurance नहीं है।

  • जिनके पास पॉलिसी है, उनमें से भी 70% परिवार तबाह करने वाले मेडिकल खर्च से नहीं बच पाते।

  • Out-of-Pocket खर्च अभी भी भारत के कुल स्वास्थ्य खर्च का 60% से ज़्यादा है – दुनिया में सबसे ऊँचे स्तरों में से एक।

नतीजा यह है कि – गरीबों के पास Political Cover है, अमीरों के पास Financial Cover, और मिडिल क्लास के पास सिर्फ़ Health Insurance Sales Pitches हैं, जो अक्सर अधूरी कवरेज देती हैं। यही कारण है कि सबसे ज़्यादा Middle Class Families असुरक्षित रहते हैं – चाहे वे कितनी भी प्लानिंग, सेविंग और फाइनेंशियल प्लानिंग क्यों न करें।

🩺 मिडिल क्लास परिवार के लिए Health Insurance चेकलिस्ट

भारत में मिडिल क्लास के लिए Medical Emergency सबसे बड़ा फाइनेंशियल रिस्क है। सही Health Insurance और Financial Planning से आप अपने परिवार को सुरक्षित कर सकते हैं।

✅ Step-by-Step गाइड

भारत में मिडिल क्लास के लिए Medical Emergency सबसे बड़ा फाइनेंशियल रिस्क है। सही Health Insurance और Financial Planning से आप अपने परिवार को सुरक्षित कर सकते हैं।

1. बेसिक Health Insurance पॉलिसी

  • कम से कम ₹10–20 लाख Sum Insured रखें।

  • Cashless Hospitals की लिस्ट ज़रूर देखें।

  • पॉलिसी में Day Care Treatments, Pre & Post Hospitalization कवर होना चाहिए।

2. Top-Up / Super Top-Up Plan

  • बेसिक कवर के ऊपर ₹25–50 लाख तक का Super Top-Up Insurance लें।

  • प्रीमियम कम और कवरेज बहुत बड़ा मिलता है।

3. Critical Illness Cover

  • कैंसर, हार्ट अटैक, किडनी फेलियर जैसी बीमारियों के लिए Critical Illness Rider लें।

  • यह एकमुश्त रकम देता है जिससे इलाज और खर्च आसान हो जाता है।

4. Employer Policy पर पूरा भरोसा न करें

  • ऑफिस की पॉलिसी सिर्फ़ नौकरी तक रहती है।

  • इसलिए अपनी पर्सनल Health Insurance हमेशा रखें।

5. Emergency Fund

  • कम से कम 6–12 महीने का खर्च Liquid Fund/FD में रखें।

  • इससे तुरंत कैश की दिक़्क़त नहीं होगी।

6. Family Floater Policy

  • अकेले के लिए पॉलिसी लेने से बेहतर है Family Floater लें, जो पूरे परिवार को कवर करे।

7. Regular Health Checkups

  • सालाना चेकअप को नज़रअंदाज़ न करें।

  • Preventive Healthcare बीमारी से पहले बचाता है।

📌 Quick Checklist (सिर्फ़ याद रखने के लिए)

✔️ बेसिक पॉलिसी ₹10–20 लाख
✔️ Super Top-Up ₹25–50 लाख
✔️ Critical Illness Cover
✔️ Employer + Personal Policy
✔️ Emergency Fund 6–12 महीने का
✔️ Family Floater
✔️ Preventive Checkups

👉 मिडिल क्लास फैमिली को चाहिए कि वे सिर्फ़ Insurance Sales Pitch पर न चलें, बल्कि अपने लिए एक Smart Health Insurance Strategy बनाएं। यही सही Financial Planning है जो आपको और आपके परिवार को सुरक्षित रखेगी।

अगर GST 18% से घटाकर 5% कर दिया जाए तो इसका असर सीधे-सीधे पॉलिसीधारकों और इंश्योरेंस इंडस्ट्री दोनों पर पड़ेगा।

भारत में मिडिल क्लास के लिए Medical Emergency सबसे बड़ा फाइनेंशियल रिस्क है। सही Health Insurance और Financial Planning से आप अपने परिवार को सुरक्षित कर सकते हैं।

🏦 पॉलिसीधारकों (Consumers) पर असर

  • Premium सस्ता होगा

    • अभी Health Insurance पर 18% GST लगता है।

    • अगर GST 5% हो जाए तो प्रीमियम तुरंत 10–12% तक सस्ता हो जाएगा।

    • उदाहरण: ₹25,000 प्रीमियम वाली पॉलिसी पर अभी ~₹4,500 टैक्स लगता है। 5% होने पर सिर्फ़ ₹1,250 लगेगा।

  • Middle Class को राहत

    • अभी बहुत से लोग Health Insurance महंगा समझकर टालते हैं।

    • प्रीमियम कम होने से मिडिल क्लास और स्मॉल बिज़नेस ओनर्स ज़्यादा इंश्योरेंस लेंगे।

  • Penetration बढ़ेगा

    • भारत में सिर्फ़ ~35-40% लोग ही Health Insurance से कवर हैं।

    • GST घटने से ज्यादा लोग पॉलिसी खरीद पाएंगे।

🏢 इंश्योरेंस इंडस्ट्री पर असर

    • New Customer Base

      • Rural और Tier-2, Tier-3 शहरों में भी Health Insurance uptake बढ़ेगा।

      • इससे इंडस्ट्री को नए ग्राहक मिलेंगे।

    • High Volume, Stable Growth

      • कम प्रीमियम का मतलब ज़्यादा लोग जुड़ेंगे।

      • इंडस्ट्री का Market Size और प्रीमियम कलेक्शन दोनों बढ़ेंगे।

    • Trust & Awareness

      • टैक्स कम होने से पॉलिसी “affordable product” बनेगी।

      • इससे लोगों का विश्वास और जागरूकता दोनों बढ़ेंगे।

⚖️ नतीजा

    • Consumers → सस्ती पॉलिसी, ज्यादा कवरेज लेने का मौका।

    • Insurance Industry → ज्यादा ग्राहक, ज्यादा penetration, long-term sustainable growth।

    • Government → अल्पकाल में टैक्स कलेक्शन घटेगा, लेकिन long-term में ज़्यादा पॉलिसी बिक्री से revenue balance हो जाएगा।

👉 सरल शब्दों में: GST 5% होने पर Health Insurance लेना आसान और सस्ता हो जाएगा, जिससे सबसे बड़ा फायदा मिडिल क्लास और अंडर-इंश्योर्ड परिवारों को होगा।

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